टोटल लूनर इक्लिप्स: जब चंद्रमा लाल हो जाता है
क्या आपने कभी चंद्रमा को लाल रंग का देखा है? अगर हां, तो शायद आपने टोटल लूनर इक्लिप्स का मजा लिया होगा। ये खगोलीय घटना हर 2-3 साल में एक बार होती है, और जब चंद्रमा पृथ्वी की छाया में आ जाता है, तो वो लाल-भूरे रंग का दिखाई देता है। अब सवाल ये है कि ये लाल रंग कहां से आता है? जवाब बहुत सरल है—सूरज की रोशनी पृथ्वी के वातावरण से गुजरते समय लाल रंग की किरणें चंद्रमा तक पहुंचती हैं।
टोटल लूनर इक्लिप्स कब होता है?
अगर आप इस घटना को देखना चाहते हैं, तो इसकी तारीख का पता लगाना जरूरी है। 2025 में इसके दो बड़े मौके हैं—मई और नवंबर में। लेकिन ध्यान रहे, आपके इलाके के हिसाब से दिखाई देने का समय अलग हो सकता है। जैसे, मई के इक्लिप्स का मुख्य दृश्य भारत में रात 9:30 बजे से शुरू होगा। अगर आपका आकाश साफ है, तो आपको बिना किसी दूरबीन के ही देखने को मिलेगा।
क्यों लाल रंग? खगोलीय जादू की कहानी
अब आप सोच रहे होंगे, 'चंद्रमा लाल क्यों होता है?' ये बात वास्तव में बहुत दिलचस्प है। जब सूरज की रोशनी पृथ्वी के वातावरण से गुजरती है, तो नीले रंग की किरणें बिखर जाती हैं, लेकिन लाल रंग की किरणें पूरी तरह आगे बढ़ती हैं। ये लाल रंग की किरणें चंद्रमा को रंग देती हैं। जैसे कि आप एक लाल लाइट से देख रहे हों। ये घटना इतनी खूबसूरत होती है कि लोग इसे 'ब्लड मून' कहते हैं।
अगर आप इस घटना को देखने के लिए तैयार हैं, तो जल्दी से अपना आकाश देखने का प्लान बना लीजिए। आपको बस एक खुले इलाके की जरूरत है—जैसे छत, बगीचा या किसी ऊंचे भवन का बाहरी हिस्सा। रात के समय ज्यादा साफ आकाश दिखाई देता है, इसलिए शाम के बाद निकलना बेहतर है। ध्यान रहे, आपको दूरबीन की जरूरत नहीं है। बस आकाश की ओर देखिए, और आपको लाल चंद्रमा दिखेगा।
अगर आपको ये जानकारी अच्छी लगी, तो अपने दोस्तों के साथ शेयर करें। शायद आपके साथ कोई भी इस रोमांच का अनुभव करना चाहता है। और हां, अगर आप इस साल इक्लिप्स छोड़ देते हैं, तो अगली बार इंतजार करना पड़ेगा। तो अगली बार जब चंद्रमा लाल होगा, तो बिना देर किए निकल जाइए!
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सित॰
7-8 सितंबर 2025 की रात भारत में साल का दूसरा और अंतिम पूर्ण चंद्र ग्रहण दिखेगा। पेनुम्ब्रल चरण 8:58 बजे, आंशिक 9:57 पर और पूर्णता 11:42 बजे होगी, जो 82 मिनट चलेगी। चांद लाल दिखेगा क्योंकि पृथ्वी का वातावरण नीली रोशनी छान देता है। यह ग्रहण दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, कोलकाता सहित पूरे देश में साफ दिखाई देगा और नंगी आंखों से देखना सुरक्षित है।